पृष्ठ

बुधवार, 26 मई 2010

बेरामिगादा भतरा ,,,,,,,,,



ताकत ताकत भोर भइल अब॥


आवा नहीं भितरा॥


लागल बेकार बा॥


बेरामी गाडा भतरा॥


कलियन पे भवरा


नहीं बैठे देहली॥


मन के प्रितिया केहू से॥


न कहली,,


जवानी बरजोर करे॥


उडे लाग अंचरा॥


लागल बेकार बा॥
बेरामी गाडा भतरा॥


अंखिया न देखय॥


दुसरे कय सपना॥


तोहके बनौली ॥


सब कुछ अपना॥


दूर से देवरा ..ताके घघरा॥


लागल बेकार बा॥
बेरामी गाडा भतरा॥

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें